गुलाब मिल्क ठंडाई - ( Gulab Milk Thandai )


 गुलाब मिल्क ठंडाई

ठंडाई का जिक्र भारत की कई पुरानी किताबो में भी मिलता है पहले ज़माने में इसे एक औषिधि की तरह परम्परागत मिट्टी के कुल्हड़ों में पिया जाता था जो गर्मी के मौसम में होने वाली कई तरह की बीमारियों से बचाव कर शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ा देती है ठंडाई गर्मियों के दिनों मे बहुत ही स्वादिष्ट ,ताजगी और ऊर्जा देने वाला पेय है अगर एक गिलास ठंडाई रोज सुबह पीते है तो धूप मे लगाने वाली लू और नकसीर जैसी तकलीफो से भी बचे रहेंगे बाजार से भी तैयार ठंडाई खरीदी जा सकती है लेकिन घर में बनी ठंडाई आपको बिना मिलावट के मिलेगी जो अवश्य ही आपके स्वास्थय के लिये फायदेमंद होगी. तो आइए हम आज ठंडाई बनाए



आवश्यक सामग्री


चीनी - 1 किग्रा

दूध -1 लीटर

पानी -500 ग्राम

बादाम -50 ग्राम

सोफ -50 ग्राम

काली मिर्च -2 छोटी चम्मच

खसखस -आधा कटोरी

खरबूजे के बीज -आधा कटोरी

छोटी इलाइची -30 -35 ( छील कर बीज निकाल लीजिये  )

गुलाब जल-1 छोटी चम्मच ( यदि आप चाहे  )

गुलाब की चंद पंखुडिया  (गार्निश के लिए )


 गुलाब मिल्क ठंडाई बनाने की विधि 

किसी बर्तन में चीनी और पानी मिलाइये और उबाल आने के बाद 5 मिनट तक उबालिये और ठंडा कर लीजिये यह आपका चीनी का घोल बन गया।

बादाम ,खरबूजे के बीज ,इलाइची के दाने और खसखस को साफ कीजिए और धो कर पानी में अलग -अलग 4 घंटे के लिये भिगो दीजिये।

सभी चीजों से अतिरिक्त पानी निकाल दीजिये अब बादाम को छील कर छिलका अलग कर दीजिये।

सभी चीजों को बारीक़ पीस लीजिये इन चीजों को पीसने के लिये पानी की जगह चीनी के घोल का प्रयोग करिये।

मिश्रण को चीनी के घोल मे मिलाइये और छान लीजिये बचे हुए मिश्रण मे घोल मिला कर दुबारा पीस कर छान लीजिये।

ठंडाई बन चुकी है ,ठंडाई को एयरटाइट बोतल मे भरिये और फ्रिज में रख लीजिये इसको आप फ्रिज में 1 महीने से भी अधिक रख सकते है।

जब भी आपको ठंडाई पीनी है आप इसमे आवश्कतानुसार बर्फ एव दूध गुलाब की पंखुडिया मिलाइये और ठंडी ठंडी  'गुलाब मिल्क ठंडाई ' पीजिये माना जाता है की धातु के बर्तन की अपेक्षा इसे मिट्टी के बर्तन में पीने से मिट्टी की प्राकृतिक सौंधी सौंधी महक इसका स्वाद और बढ़ा देती है

Comments

Popular posts from this blog

श्वेतार्क ( सफेद आक ) का पौधा - ( Calotropis Gigantea)

देवलोक का वृक्ष पारिजात या हरसिंगार ( Parizaat or Harsingaar )

शमी ( Shammi ) वृक्ष